Type of Driving licence: भारत की सड़कों पर गाड़ी चलाने के लिए कई तरह के अलग-अलग ट्रैफिक नियम बनाए गए हैं. उन ट्रैफिक नियमों से पहले एक जरूरी खास डॉक्यूमेंट अगर आपके पास नहीं है तो आप छोटी से छोटी या बड़ी से बड़ी गाड़ी को सड़कों पर नहीं चला सकते हैं. जिसे हम आज के समय में ड्राइविंग लाइसेंस (Driving licence) के नाम से जानते हैं. अगर आपके पास ड्राइविंग लाइसेंस नहीं है तो आपके पास यह अधिकार नहीं है कि आप किसी भी गाड़ी को सड़कों पर चला सके और अगर ऐसा करते हुए पकड़े जाते हैं तो आपको जुर्माना भी भरना पड़ सकता है. लेकिन क्या आपको पता है कि ड्राइविंग लाइसेंस कितने तरह के होते हैं और उनका क्या काम होता है? अगर नहीं तो आइए आज हम जानते हैं.
दरअसल, ड्राइविंग लाइसेंस (Driving licence) आज के समय में सड़कों पर गाड़ी चलाने के लिए एक जरूरी डॉक्यूमेंट बन चुका है जो 18 साल से अधिक लोगों के लिए अनिवार्य हो चुका है. अगर आप की उम्र 18 साल से अधिक है तो आप भी अपना ड्राइविंग लाइसेंस बनवा सकते हैं और यह चार तरह का होता है जिनके अलग-अलग काम होता है.
Commercial License
सबसे पहले हम कमर्शियल लाइसेंस की बात करें तो यह बड़े वाहनों के लिए बनवाया जाता है जैसे कि, बस, ट्रक बड़े वाहन शामिल होते हैं. इसे भी अलग-अलग तीन वर्ग में बांटा जाता है जिसमें माध्यम, हैवी और हल्के वाहनों के लिए अलग से आवेदन करना पड़ता है और इनका शुल्क भी अलग लगता है.
Learner License
यह लाइसेंस सबसे पहली बार ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए अप्लाई करने से पहले दिया जाता है. जिसमें ट्रैफिक नियम से जुड़े कुछ सवाल पूछे जाते हैं और एक सामान्य शुल्क जमा करने के बाद लोगों को 6 महीने की अवधि के लिए लर्नर लाइसेंस दे दिया जाता है. इसके बाद अवधि पूरी होते ही आप इसे ड्राइविंग लाइसेंस के रूप में चेंज करवाना पड़ता हैं. लेकिन लर्नर लाइसेंस के साथ अगर आप गाड़ी चला रहे हैं तो आपके साथ एक ड्राइविंग लाइसेंस वाला व्यक्ति जरूर होना चाहिए वरना पकड़े जाने पर जुर्माना लग सकता है.
Permanent License
इसके बाद तीसरा परमानेंट लाइसेंस है जो लर्नर लाइसेंस के 1 महीने बाद ही लोगों को दिया जाता है. जिसके लिए आपको आरटीओ ऑफिस जाकर आवेदन करना होगा और एक निर्धारित तिथि पर पहुंच कर ड्राइविंग टेस्ट देकर परमानेंट ड्राइविंग लाइसेंस प्राप्त कर लेना होगा.
International Permit
इंटरनेशनल परमिट का इस्तेमाल भारत के अलावा आप दूसरे देशों में जाकर गाड़ी चलाने के लिए बाध्य नहीं होते हैं. इसका मतलब है कि आप इस परमिट के बाद किसी भी दूसरे देश जाकर गाड़ी चला सकते हैं. लेकिन इसे बनवाने के लिए सबसे पहले आपके पास परमानेंट लाइसेंस होना बेहद जरूरी होता है. अगर आपके पास परमानेंट लाइसेंस नहीं है तो इंटरनेशनल परमिट नहीं बन पाएगा.