Chandrashekhar Azad: मयावती से मिलने की चाहत, क्या जाग गई कुर्सी की लालच? जाने यहां सच

लखनऊ: आजाद समाज पार्टी (कांशीराम) के अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश की नगीना लोकसभा सीट से सांसद चंद्रशेखर आजाद (Chandrashekhar Azad) अक्सर अपने बेबाक बयानों को लेकर चर्चा में रहते हैं। हाल ही में शुभांकर मिश्रा के पॉडकास्ट में शामिल हुए नगीना सांसद चंद्रशेखर आजाद ने बसपा सुप्रीमो मायावती और उनके भतीजे आकाश आनंद पर अपने विचार व्यक्त किए। नगीना सांसद चंद्रशेखर से जब पूछा गया कि चंद्रशेखर आजाद मायावती का आशीर्वाद चाहते हैं या उनके उत्तराधिकारी आकाश आनंद की कुर्सी।

सत्ता में आएगा वह काम करेगा

इस सवाल पर नगीना सांसद ने कहा कि आकाश आनंद आज किस कुर्सी पर हैं। मायावती आज किस मुकाम पर हैं, मेरा मानना है कि उनके पास वोट बैंक है लेकिन वह सत्ता में नहीं हैं, जो भी सत्ता में आएगा वह काम करेगा। मेरी जगह भी मैं कुर्सी पर बैठा हूं। यह पूछे जाने पर कि मायावती की कुर्सी की विरासत अलग है, चंद्रशेखर आजाद ने कहा कि जिस व्यक्ति को डॉ. भीमराव अंबेडकर ने अपना गुरु कहा था, राष्ट्रपिता ज्योतिबा फुले, उनका जन्म महाराष्ट्र में हुआ था। बाबा साहब का जन्म मध्य प्रदेश में हुआ था, उनके आंदोलन को आगे बढ़ाने वाले वीपी मौर्य ने गाजियाबाद से काम किया।

कोई संबंध नहीं है

फिर इस आंदोलन को बड़े पैमाने पर आगे बढ़ाने वाले कांशीराम ने पंजाब में काम किया, फिर मायावती, जिनका जन्म गौतमबुद्ध नगर में हुआ। जब इन सभी के बीच कोई संबंध नहीं है, तो वे अपने परिवार के किसी व्यक्ति को कुर्सी क्यों सौंपना चाहते हैं। वहीं, नगीना सांसद चंद्रशेखर आजाद ने बसपा सुप्रीमो मायावती से मिलने के लिए उनके कार्यालय में फोन किया। नगीना सांसद ने बसपा सुप्रीमो से मिलने का समय मांगा। चंद्रशेखर आजाद ने फोन पर कहा, मैं बहनजी से मिलना चाहता हूं, क्या आप उन तक मेरा संदेश पहुंचा देंगी? इस पर दूसरी तरफ से आवाज आई- मैं आपकी बातें नोट कर रहा हूं।

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